चकिया । चंदौली। स्टेट मीडिया। जनपद में 10 फरवरी से राष्ट्रीय कृमि मुक्ति अभियान का शुभारंभ किया जाना है । जिसे सफल बनाने के ब्लाक संसाधन केंद्र चकिया पर बुधवार को प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र चकिया के एमवाईसी डॉ विकास कुमार सिन्हा के निर्देश पर अध्यापकगण व आंगनवाड़ी कार्यकर्ती को प्रशिक्षण दिया गया ।
प्रशिक्षण में बताया गया कि यह अभियान 10 फरवरी से 23 फरवरी तक चलेगा और इस दौरान एक से 19 वर्ष तक के बच्चों, किशोरों को कृमि मुक्ति की दवा एल्बेंडाजोल की गोली खिलाई जाएगी। राष्ट्रीय कृमि मुक्ति कार्यक्रम का उद्देश्य कृमि से होने वाले नुकसान से बच्चों को बचाना है। साथ ही उनके बेहतर शारीरिक एवं मानसिक विकास को सुनिश्चित करना है। अभियान के दौरान अगर बच्चे दवा खाने से छूटे जाते है तो उन बच्चों को 13 से 15 फरवरी के दौरान चलने वाले मापअप राउंड में एल्बेंडाजोल की गोली खिलाकर आच्छादित किया जाएगा। 200 एमजी एल्बेंडाजोल की आधी गोली एक साल से 2 साल तक के बच्चों को पानी के साथ खिलायी जायेगी।दो से 3 साल के बच्चों को पूरी गोली खिलाई जाएगी। जबकि 3 से 19 साल के बच्चों को एक टेबलेट 400 एमजी की दवा चबाकर खिलानी है।
यह भी बताया गया कि एल्बेंडाजोल की गोली बच्चों के साथ ही बड़ों के लिए भी सुरक्षित है ।दवा के सेवन से कोई भी नुकसान नहीं होता है। दवा खाने के उपरांत यदि कोई प्रतिकूल प्रभाव हो तो घबराने कि जरूरत नहीं है।
पेट में कृमि की अधिकता होने से दवा खाने के बाद सिरदर्द, चक्कर या मिचली आना स्वाभाविक है। इस तरह के लक्षण कुछ ही देर में स्वतः ठीक हो जाते हैं।
बीमार बच्चों या पहले से कोई अन्य दवाई ले रहे बच्चों को एल्बेंडाजोल की गोली नहीं दी जाएगी। एल्बेंडाजोल की गोली बच्चों के संपूर्ण शारीरिक और मानसिक विकास के लिए है। यह दवा बच्चे के पेट के अंदर पल रहे कृमि को नष्ट कर उन्हें मल के रस्ते बाहर कर देता है,और बच्चा कुपोषित होने से भी बचता हैं। इसलिए कृमिनाशक गोली पूरी तरह से सुरक्षित है और बच्चे के सेहत की लिए जरूरी है। वहीं स्वास्थ्य शिक्षा अधिकारी शिवप्रकाश व डॉ एसएन सिंह द्वारा प्रशिक्षण दिया गया ।
इस काफी संख्या में अध्यापकगण व आंगनवाड़ी कार्यकर्ती मौजूद रही ।
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